Parenting Tips to Reduce Mobile Addiction in Kids: आजकल हर माता-पिता की सबसे बड़ी दिक्कत यह है कि उनका बच्चा मोबाइल का इस्तेमाल ज्यादातर कर रहा है, जिससे बच्चे का पढ़ाई से भी मन हट जाता है। ऐसे में हर माता-पिता को अपने बच्चे के भविष्य के लिए हर वक्त चिंता बनी रहती है कि केसे वे अपने बच्चे की मोबाइल की आदत कैसे छुड़ाएं जिससे कि वह मन लगाकर अपनी पढ़ाई कर सके और अपने भविष्य को एक बेहतर रूप दे सके।
इस लेख में हमने बच्चे को जो मोबाइल पर सोशल मीडिया की लत लग चुकी है उसे किस तरह से छुड़ा सकते हैं तथा अपने बच्चे के लिए एक बेहतर भविष्य प्रदान कर सकते हैं, वे सभी टिप्स प्रस्तुत की गई है। अगर आप भी माता-पिता हैं और इसी समस्या से जूझ रहे हैं तथा अपने बच्चे के भविष्य को लेकर चिंतित हैं तो आर्टिकल को अंत तक पढ़े।
क्यों लगती है बच्चों को मोबाईल की लत
बच्चे की मोबाईल की लत छुड़ाने के लिए सबसे पहले एक बच्चे के मन की मांग के बारे मे आपको बात दे कि एक बच्चे के मस्तिष्क की मात्र दो मांग रहती है, पहली यह कि उसे अपने किसी भी काम की वजह से मान सम्मान प्राप्त हो तथा दूसरी यह कि उसे दिन मे किसी भी प्रकार का अचीवमेंट चाहिए होता है।
यही कारण है कि जब कोई बच्चे की ये दो मांग फिज़िकल लेवल पर प्राप्त नहीं होती है तो उसे डिजिटल रूप से सोशल मीडिया और अनलाइन गेम के माध्यम से प्राप्त होती है। सोशल मीडिया मे जब उसे लाइक कमेन्ट मिलती है तो उसकी पहली मांग पूरी हो जाती है तथा जब वो गेम मे किसी भी प्रकार का लेवल अचिव कर लेता है तो उसे दूसरी मांग पूरी होने का अहसास होता है।
इन चार टिप्स से छुड़ाए बच्चे की मोबाईल की आदत
#1 जब कोई बच्चे का मस्तिष्क स्ट्रेस से भरा रहता है तो उसे उस स्ट्रेस से निकलने के लिए आवश्यकता होती है, इसी कारण से माता पिता के लिए यह जरूरी है कि ऐसी स्थिति में अपने बच्चे को ऐसा काम करने दिया जाए जो उसे काफी पसंद आता हो जैसे कि स्पोर्ट्स, गिटार बजाना, अर्थात जो भी उसे पसंद आता हो, उस चीज को आप अपने बच्चे की डेली रूटीन में एक घंटा ऐड करते हैं तथा उसके द्वारा किए गए किसी प्रकार के काम को अच्छा बताते है तो उसे सेंस ऑफ अचीवमेंट प्राप्त होता है।
#2 आपने अक्सर देखा होगा कि अगर कोई भी बच्चा खाली बैठा रहता है तो वह मोबाइल या फिर लैपटॉप की स्क्रीन के सामने जाकर अपना टाइम पास करने लगता है। अतः बच्चे को किसी भी प्रकार की स्किल सिखाना चाहिए जैसे कि स्विमिंग, सिंगिंग, स्पोर्ट्स आदि। ज्यादातर बच्चे अपने खाली समय में मोबाइल पर वीडियो गेम व सोशल मीडिया के इस्तेमाल इसीलिए करते हैं क्योंकि या तो उनके कोई दोस्त नहीं होते या फिर उनके पास ऐसी कोई स्किल नहीं होती है जिसको करने में उनको आनंद अनुभूति हो।
#3 हर माता-पिता लिए यह आवश्यक है कि वह अपने बच्चे की पढ़ाई को लेकर डेली रूटीन तय करें। अपने बच्चे की पढ़ाई का एक नियमित रूप से समय सारणी बनाए, तथा इस बात पर हमेशा ध्यान रखने की बच्चे के लिए सबसे पहले स्टडी, स्पोर्ट्स, फिर उसके बाद स्क्रीन, मोबाईल का रूटीन होना चाहिए।
#4 अपने बच्चे को डेली मेडिटेशन अवश्य करवाएं क्योंकि रोजाना मेडिटेशन से इंसान के मस्तिष्क के लिए डिसीजन करना अत्यंत सरल हो जाता है। यही तो कारण है कि आपका बच्चा मोबाईल को छोड़ने तथा पढ़ाई मे मन लगाने का डिसीजन नहीं ले पा रहा है। इसीलिए आप अपने बच्चे को पढ़ाई से पहले 15 मिनट रोजाना मेडिटेशन अवश्य करवाएं। ताकि उसके लिए डीसीजन लेना आसान हो जाए।
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